प्रदेश के 7 दिग्गजों की CWC में एंट्री के क्या मायने? कांग्रेस का ओबीसी और आदिवासियों पर फोकस

प्रदेश के इन नेताओं को स्थान देकर कांग्रेस आलाकमान ने इस साल के अंत में होने वाले विधानसभा और अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव में विभिन्न वर्गों, खासकर ओबीसी और आदिवासियों को साधने का प्रयास किया है।

Sachin Pilot Jitendra Singh Harish Chowdhary | Sach Bedhadak

CWC new list : जयपुर। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने रविवार को कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) का ऐलान कर दिया। एआईसीसी की 84 सदस्यीय जंबो बॉडी में 39 सीडब्ल्यूसी सदस्यों के नाम शामिल हैं। इसके अलावा सूची में महासचिव, स्थाई आमंत्रित सदस्यों और प्रभारियों के नाम भी शामिल हैं। इसमें राजस्थान से पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट, पूर्व सांसद जितेंद्र सिंह, हरीश चौधरी, महेन्द्रजीत मालवीय, मोहन प्रकाश, पवन खेड़ा और अभिषेक मनु सिंघवी को शामिल किया गया है।

प्रदेश के इन नेताओं को स्थान देकर कांग्रेस आलाकमान ने इस साल के अंत में होने वाले विधानसभा और अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव में विभिन्न वर्गों, खासकर ओबीसी और आदिवासियों को साधने का प्रयास किया है। इसके साथ ही इसी तरह प्रदेश में महत्वपूर्ण पदों का जिम्मा संभालने प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा, स्क्रीनिंग कमेटी के चेयरमैन गौरव गोगोई, पूर्व प्रदेश प्रभारी अजय माकन और अविनाश पांडे को भी जगह दी गई है।

सीडब्ल्यूसी में राजस्थान के आदिवासी क्षेत्र के नेता प्रदेश के जल संसाधन मंत्री महेंद्रजीत सिंह मालवीय, प्रदेश चुनाव स्क्रीनिंग कमेटी के चेयरमैन गौरव गोगोई, पूर्व प्रदेश प्रभारी अविनाश पांडे को महासचिव नियुक्त किया गया है, तो पूर्व प्रदेश प्रभारी अजय माकन को भी बतौर मेंबर शामिल किया गया है। परमानेंट इनवाइटीज में धौलपुर से आने वाले वरिष्ठ कांग्रेस नेता मोहन प्रकाश को जगह दी गई है। उदयपुर के पवन खेड़ा कमेटी में विशेष आमंत्रित सदस्य बनाए गए हैं। इस सूची को देख जाहिर है कि राजस्थान में चुनाव के मद्देनजर सोशल इंजीनियरिंग पर पूरा ध्यान दिया गया है।

हरीश चौधरी जाट चेहरा भी

प्रदेश में ओबीसी आरक्षण की सीमा 21 से बढ़ाकर 27 प्रतिशत करने की मांग पुरजोर तरीके से रखने वाले राज्य के पूर्वकैबिनेट मंत्री हरीश चौधरी को जगह देकर ओबीसी वोट बैंक को साधने का प्रयास किया गया है। बाड़मेर की बायतू सीट से विधायक चौधरी जाट चेहरे के रूप में भी अपनी पहचान रखते हैं। वहीं, सचिन पायलट को शामिल करना गुर्जर वोटर्स के साथ ही उनके हजारों समर्थकों का समर्थन हासिल करने की कवायद माना जा रहा है।

गांधी परिवार के करीबी अलवर के भंवर जितेन्द्र को शामिल कर सामान्य वर्गको साधने का प्रयास किया गया है। इसी तरह धौलपुर से आने वाले वरिष्ठ कांग्रेस नेता मोहन प्रकाश को जगह दी गई है। वे भी गांधी परिवार के नजदीकी माने जाते हैं। उदयपुर के रहने वाले पवन खेड़ा और जोधपुर मूल के अभिषेक मनु सिंघवी को भी जगह मिली है। खेड़ा बतौर राष्ट्रीय प्रवक्ता और सिंघवी सुप्रीम कोर्टके नामचीन वकील होने के साथ ही स्टारडम रखने वाले नेता हैं।

मालवीय को शामिल करने के मायने

वागड़ क्षेत्र में और आदिवासी क्षेत्र में अपनी पकड़ अधिक मजबूत करने के लिए राज्य सरकार में मंत्री महेंद्रजीत सिंह मालवीय को राष्ट्रीय महासचिव के तौर पर शामिल किया गया है। बांसवाड़ा के बागीदौरा से विधायक महेंद्रजीत की आदिवासी क्षेत्र से आते हैं। उनकी आदिवासी वोटरों पर अच्छी पकड़ मानी जाती हैं। जाहिर है, आदिवासियों वोटर्स को साधने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रहनी है। वैसे, पूर्व सीडब्ल्यूसी मेंबर रघुवीर मीणा को इस मर्तबा जगह नहीं मिली है।

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